Uttar Pradesh: उत्तर प्रदेश के अशासकीय सहायता प्राप्त माध्यमिक विद्यालयों में कार्यरत शिक्षणेत्तर कर्मचारियों (लिपिक एवं चतुर्थ श्रेणी) की ओर आकृष्ट कराते हुए अवगत कराना है कि इन कर्मचारियों की प्रमुख मांगे समस्यायें लम्बे समय से लम्बित हैं इन पर कई बार विभागीय अधिकारियों व शासन स्तर के अधिकारियों से वार्ता बैठकें हुई, प्रदेश अध्यक्ष श्री अजय कुमार शर्मा जी के नेतृत्व में विशेष सचिव माध्यमिक शिक्षा विभाग उत्तर प्रदेश शासन, (Uttar Pradesh) लखनऊ की अध्यक्षता में संगठन की आधिकारिक वार्ता बैठक दिनांक: 04 अक्टूबर, 2021 को सम्पन्न हुई थी, जिसमें मांगों से सम्बन्धित शासन में चल रही पत्रावलियों पर अतिशीघ्र कार्यवाही के मौखिक एवं लिखित निर्देश दिये गये थे, परन्तु लगभग दो वर्ष बाद भी मांगों के शासनादेश अद्यतन निर्गत नहीं हुए। उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षणेत्तर संघ की प्रदेश कार्यकारिणी में लिये गये निर्णयानुसार हम जनपद बाराबंकी के शिक्षणेत्तर कर्मचारी दिनांक 14.01.2024 को अपनी मांगों का ज्ञापन इस अनुरोध एवं अपेक्षा के साथ प्रेषित करते हैं कि “सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास” पर चलने वाली आपकी सरकार में इन मांगों के शासनादेश निर्गत कराने की सार्थक कार्यवाही अतिशीघ्र होगी, जिससे शिक्षणेत्तर कर्मचारियों में व्याप्त असंतोष समाप्त होगा।
Uttar Pradesh: मांग बिन्दु
अर्ह शिक्षणेत्तर कर्मचारियों की शिक्षक पद पर पदोन्नति का प्रावधान किये जाने हेतु पत्रावली शासन में लम्बित है जिसपर अपेक्षित कार्यवाही की अपेक्षा है। (Uttar Pradesh) राजकीय कर्मचारियों के समान 300 दिन के उपार्जित अवकाश का नकदीकरण सेवानिवृत्त पर दिये जाने हेतु प्रस्ताव विभाग द्वारा शासन को प्राप्त हो चुका जिसपर अपेक्षित कार्यवाही किये जाने की अपेक्षा है। है चिकित्सीय सुविधा से सम्बन्धित पत्राचार विभाग एवं बीमा कम्पनियों
के मध्य लम्बे चल रहा है परन्तु अभी तक प्रावधान नहीं हो पाया। शीघ्र कार्यवाही की समय से अपेक्षा है।
प्रबन्ध समिति में प्रतिनिधित्व किये जाने के सम्बन्ध में शिक्षा निदेशक स्तर से प्रस्ताव प्रेषित किया जा चुका है जिसकी शासन स्तर पर कार्यवाही अपेक्षित है । चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी से लिपिक पद पर पदोन्नति हेतु डोएक सोसाइटी का CCC डिप्लोमा अनिवार्य किया गया था जबकि राजकीय विद्यालयों के लिए यह प्रावधान नहीं है (Uttar Pradesh) समानता के आधार पर पदोन्नति में CCC का प्रावधान समाप्त किये जाने हेतु शिक्षा निदेशक स्तर से प्रस्ताव शासन को भेजा जा चुका है जिसपर कार्यवाही की अपेक्षा है।
हाईस्कूल स्तर के विद्यालयों के लिपिकों को इण्टरमीडिएट विद्यालयों के सहायक लिपिक / कनिष्ठ सहायक के समान ACP ( सुनिश्चित कैरियर प्रोन्नयन) का लाभ नहीं दिया जा रहा है इस सम्बन्ध में शिक्षा निदेशक / वित्त नियंत्रक से कार्यवाही की अपेक्षा है।
01.04.2005 के पश्चात् नियुक्त शिक्षणेत्तर कर्मचारियों पर पुरानी पेंशन योजना लागू किये जाने की अपेक्षा है।
चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी से सहायक लिपिक (कनिष्ठ सहायक ) पद पर तथा सहायक लिपिक (कनिष्ठ सहायक ) पद से प्रधान लिपिक (वरिष्ठ सहायक ) पद पर पदोन्नति होने पर पूर्व की भाँति (22वी का लाभ) एक वेतन दिये जाने का आदेश निर्गत किये जाने की अपेक्षा है।
प्रदेश में लम्बे समय से सहायता प्राप्त माध्यमिक विद्यालयों में चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की नियुक्ति नहीं हो रही जिससे विद्यालय के कार्य प्रभावित हो रहे अतः नियुक्ति हेतु शासन से आदेश की अपेक्षा है।